राजस्थान: पर्यवेक्षक अशोक तंवर बोले…नहीं चलेगी पार्टी में गुटबाजी, उधर, भिड़े समर्थक

अजमेर। शहर और देहात कांग्रेस जिलाध्यक्ष का चयन करने आए केंद्रीय पर्यवेक्षक अशोक तंवर की एक साथ चलने की नसीहत रविवार को दो घंटे में धरी रह गई। रायशुमारी के दौरान कांग्रेसियों ने इसे धत्ता बता दिया। नेताओं ने शक्ति प्रदर्शन कर आरोप-प्रत्यारोप लगाए। हालांकि तंवर ने देर शाम तक ब्लॉक, मंडल और संगठन स्तर फीडबैक लिया।

तंवर फायसागर रोड स्थित एक समारोह स्थल कांग्रेसियों से फीडबैक लेने पहुंचे। यहां शहर कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष विजय जैन अपने नौ साल के कार्यकाल में हुई संगठन की गतिविधियों-कार्यक्रमों की जानकारी दे रहे थे। इस दौरान पूर्व आरटीडीसी अध्यक्ष धर्मेंद्र राठौड़ ने भी माइक लेकर बोलना शुरू किया। यह देख कई कांग्रेसी नाराज हो गए। उन्होंने राठौड़ के बोलने पर आपत्ति जताई।

यह देख कांग्रेसी परस्पर बाहें चढ़ाकर आमने-सामने हो गए। नेताओं-कार्यकर्ताओं में धक्का-मुक्की की स्थिति बन गई। जमकर तकरार हुई। केंद्रीय पर्यवेक्षक तंवर, श्रीकरणपुर विधायक रूपिंदर सिंह कुन्नर और राज्य पर्यवेक्षक रमेश खंडेलवाल ने मामला शांत कराया। इस दौरान कांग्रेसियों ने दावेदारी दिखाते हुए शक्ति प्रदर्शन किया।

इनका कहना है…

एआइसीसी ने रायशुमारी करने भेजा है। कोई गुटबाजी नहीं है। जो भी रिपोर्ट होगी वो संगठन को दी जाएगी।

अशोक तंवर, केंद्रीय पर्यवेक्षक

पांच बर्तन हैं, तो खनकते हैं। कांग्रेस लोकतांत्रिक पार्टी है। सबको अपनी बात कहने का पूरा हक है।

धर्मेंद्र राठौड़, पूर्व आरटीडीसी अध्यक्ष

नेता प्रतिपक्ष राहुल गांधी के निर्देशानुसार जिलाध्यक्ष की नियुक्ति होगी। कोई खेमेबाजी, गुटबंदी नहीं है। सबको अपना पक्ष रखने का अवसर दिया गया है।

डॉ. रघु शर्मा, पूर्व चिकित्सा मंत्री