राजस्थान के इस शहर में है विश्व का सबसे छोटा योग गुरु, प्रत्यक्ष को महज 4 साल की उम्र में लगी योग की लगन, 6 साल की उम्र में गिनीज वर्ल्ड रेकॉर्ड में नाम दर्ज करवाकर बना विश्व का सबसे छोटा योग प्र​शिक्षक

Rajasthan News: (हेमंत शर्मा). डॉक्टर- इंजीनियर्स की फैक्ट्री कहे जाने वाले शहर में अन्य क्षेत्रों में नाम कमाने वाले लोगों की कमी भी नहीं है। देवाशीश सिटी निवासी प्रत्यक्ष विजय ने विश्व का सबसे छोटा योग प्रशिक्षण बनने का गौरव हांसिल किया है। 6 साल प्रत्यक्ष विजय ने गिनीज वर्ल्ड रेकॉर्ड में नाम दर्ज करवाया है।

पांच साल 337 दिन की आयु में बनाया रेकॉर्ड

प्रत्यक्ष ने गत वर्ष रेकॉर्ड के लिए एप्लाई किया था। इस पर संस्था की ओर से पत्यक्ष को 10 जुलाई 2024 को ऑन लाइन प्रमाण पत्र प्राप्त हुआ। हाल ही में उसे यह प्रमाण पत्र व मेडल पत्र कोरियर से प्रमाण पत्र मिला है। गिनीज वर्ल्ड रेकॉर्ड की वेबसाइट पर भी प्रकाशित किया जा चुका है।

सम्मान व रेकॉर्ड

– पिता गौरव विजय बताते हैं कि प्रत्यक्ष ने मार्च- 2023 में 2 मिनट में 27 योग करने का नेशनल अवार्ड जीता।

– नवराष्ट्र योग प्रतियोगिता में चैं​म्पियनआफॅचैं​म्पियन बना।

-प्लैंक योगा में इंटरनेशनल योग बुक ऑफ रेकॉर्ड में सबसे छोटी उम्र में एक योगा को सबसे लंबे समय तक करने का रेकॉर्ड बनाया।

-वर्ष-2024 में इंडिया बुक ऑफ रेकार्ड में एप्लाई किया और देश का सबसे छोटा योग प्रशिक्षक बना।

– अब हाल ही में गिनीज वर्ल्ड रेकॉर्ड में नाम दर्ज करवाया।

-जिला स्तर पर नन्हा योग गुरु सम्मानित हो चुका है।

जेहन में ऐसे उतरा योग

प्रत्यक्ष की मां दीक्षा विजय भी योग प्रशिक्षक है। दो साल पहले चार साल की उम्र में प्रत्यक्ष ने मां को योग करते देखा तो खुद भी योग करने लगा। योग करते हुए प्रधानमंत्री भी प्रत्यक्ष के लिए प्रेरणा के स्रोत बने । योग की ललक जागी तो योग का विधिवत प्रशिक्षण लिया। पिता गौरव विजय बताते हैं कि प्रत्यक्ष स्कूल जाने से पहले प्राणायाम व ध्यान करता है। शाम को 2 घंटे योगाभ्यास करता है। उसने योगा गुरु बनने के लिए योगा अलाइंस यूएसए का कोर्स किया।

बच्चों को संदेश

प्रत्यक्ष ने पत्रिका को बताया कि वह योग के क्षेत्र में देश व कोटा का नाम रौशन करना चाहता है। उसने बताया कि वह सोशल मीडिया पर योग क्लास भी ले रहा है। नियमित रूप से दो घंटे योग करता है। लोग स्वस्थ रहे, इसके लिए योग जरूरी है।बच्चों के लिए मोबाइल खतरनाक है। बच्चे पढ़ाई में मन लगाएं।इससे स्वास्थ्य पर प्रतिकूल असर पड़ता है। माता- पिता की बात को मानें।

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