लावारिस पशुओं को सड़क से हटाने में नगर निगम नाकाम साबित हुआ है, लेकिन सड़क पर घूम रहे इस गोवंश को बचाने का पांच दोस्तों ने बीड़ा उठाया है। रात के वक्त ये गोवंश वाहनों की चपेट में न आए, इसके लिए ये दोस्त मिलकर गोवंश को रेडियम बेल्ट पहना रहे हैं, ताकि वाहन चालकों को दूर से ही नजर आए जाए कि सड़क पर कोई गोवंश बैठा है। एक फायदा यह भी होगा कि वाहन चालक भी दुर्घटना के शिकार नहीं होंगे।
दरअसल, पशुपालक उस गोवंश को सड़कों पर छोड़ रहे हैं, जो दुधारू नहीं है। नगर निगम के पास महज एक गोशाला है जो गोवंश से भरी है, इसलिए निगम प्रशासन भी सड़कों से इस गोवंश को नहीं हटाता है। केवल किसी वीआईपी के प्रवास या अलवर आगमन पर इन्हें हटाया जाता है। खास बात यह है कि अगर शहर में चल रही अवैध डेयरियों को आसपास ही जमीन अलॉट कर दी जाए तो लावारिस गोवंश से बचा जा सकता है।
हाईवे पर शुरू किया है काम
अलवर के रहने वाले सोनू गुर्जर, पीआर कसाना, यश जाट, राहुल और सागर कसाना का दल पशुओं को रेडियम बेल्ट पहना रहे हैं। सोनू ने बताया कि अब तक मालाखेड़ा हाइवे, दिल्ली-जयपुर और अलवर शहर में कई जगह पर गोवंश को रेडियम की बेल्ट पहनाई है।
बेल्ट वाटरप्रूफ, दिल्ली से मंगवाई
दिल्ली से यह रेडियम बेल्ट मंगवाई गई है। यह रेडियम बेल्ट वॉटरप्रूफ है। बारिश में भीग जाने के बाद भी खराब नहीं होगी। इसमें उपयोग किया गया मैटेरियल सॉफ्ट है, इससे पशुओं को कोई परेशानी नहीं होती है। साथ ही इन्हें खींचने पर जानवरों को कोई हानि नहीं पहुंचती है। एक बेल्ट करीब 45 रुपए की कीमत है। वहीं, दल ने बताया कि हमारी टीम में अधिकांश लोग छात्र हैं और पॉकेट मनी से यह बेल्ट खरीद रहे हैं। जब कोई दोस्त दिल्ली जाता है तो गोवंश के लिए बेल्ट लेकर आता है।
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