नागौर. शहर के बंशीवाला परिसर में रविवार से रामलीला शुरू हुई। पहले दिन नारद मोह, रावण तपस्या एवं इंद्र दरबार आदि पौराणिक प्रसंगों का मंचन किया गया। नारद का मोह भंग होने के दौरान भगवान विष्णु से हरि यानि की उनका रुप मांगना, भगवान विष्णु का नारद को वर देना आदि दृश्यों के दौरान कलाकारों की संवाद अदायगी शानदार रही। इसके साथ ही रावण की तपस्या करने के द़श्य से पौराणिक काल जीवंत नजर आया। रामलीला के चल रहे मंचन के दौरान बंशीवाला मंदिर परिसर संवादों के गूंजते स्वरों से गुंजायमान रहा। इस दौरान रामलीला देखने के लिए श्रद्धालुओं की भीड़ लगी रही।
सिद्धचर पूजन के साथ समझाई महत्ता
नागौर. कनक आराधना भवन में प्रवचन करते हुए साध्वी मृगावती ने कहा कि सिद्धचर जैन धर्म में एक लोकप्रिय यंत्र है। इसका इस्तेमाल पूजन में होता है। इसे श्वेताम्बर परम्परा में नवपद के नाम से जाना जाता है। साध्वी सुरप्रिया ने कहा कि सिद्धचर को एक कलश के रूप में दिखाया जाता है। कलश के बीच में खिला हुआ कमल का फूल नवपद को दशार्ता है। सिद्धचर विधान के दौरान कईं दिव्य शक्तियाँ प्रकट होतीं हैं। साध्वी नित्योदया ने सिद्धचर से जुडी़ कथा के बारे में बताते हुए कहा कि यह राजा श्रीपाल एवं उनकी पत्नी मैना सुन्दरी के सिद्धचर महामंडल विधान से राजा श्रीपाल का कुष्ठ रोग शांत हो गया था। महेश भण्डारी ने सिद्धचर पूजन कराया। पूजन का लाभ लक्ष्मीराज बच्छावत को मिला।
प्रत्येक घर में शस्त्र और शास्त्र दोनों की पूजा करें
नागौर. जोधपुर रोड स्थित गो-चिकित्सालय परिसर में स्वामी कुशालगिरी के सानिध्य में दुर्गाष्टमी पर शस्त्र पूजन किया गया। पूजन पंडित विक्रम शर्मा ने कराया। इस मौके पर स्वामी कुशालगिरी ने कहा कि वह भगवान परशुराम, द्रोणाचार्य, विश्वामित्र, सांदिपनी के मार्ग पर चलने वाले संत हैं। इसलिए भक्तों को शास्त्र व शस्त्र दोनों की शिक्षा उनकी ओर से दी जाती है। उन्होंने कहा कि सत्य सनातन परंपरा ही परित्राणाय च साधुनाम, विनाशाय च दृष्कृताम का उद्घोष करती है। अधर्म तभी बलशाली होगा, जब शस्त्र और शास्त्र दोनों कमजोर पड़ेगे। इसलिए इनकी नित्य साधना आवश्यक है।
सरसों की उन्नत किस्म के लगेंगे प्रदर्शन
नागौर. कृषि विज्ञान केन्द्र अठियासन की ओर से राष्ट्रीय खाद्य सुरक्षा मिशन के अन्तर्गत सरसों फसल में समूह अन्तिम पंक्ति प्रदर्शनके लिए केन्द्र पर किसानों का प्रशिक्षण दिया गया। केन्द्र के वरिष्ठ वैज्ञानिक एवं अध्यक्ष गोपीचंद सिंह ने बताया कि नागौर जिले के लिए उपयुक्त उन्नत किस्म डीआर एम आर 1165.40 सरसों किस्म के प्रदर्शन किसानों के खेत पर लगाए जाएंगे। नोडल अधिकारी एवं शस्य वैज्ञानिक हरिराम चौधरी ने बताया कि ग्राम खाबड़ीयाना के किसानों को किस्म के साथ मृदा एवं बीज उपचार व पोषक तत्व के लिए सल्फर, जिंक व कीटों के प्रबंधन के लिए दवाओं आदि की जानकारी दी गई।
आहुतियों के साथ हुआ समापन
नागौर. आचार्य चैत्य सागर के सानिध्य में चल रहे श्रीसिद्धचक्र महामण्डल विधान एवं ज्ञान-ध्यान-जिनभक्ति यज्ञ का रविवार को समापन हो गया। समाज के रमेशचन्द्र ने बताया कि गत 5 अक्टूबर से यह बीसपंथी मंदिर में चल रहा था। श्रद्धालुओं की ओर से इस मौके पर आहुतियां अर्पित की गई। इस दौरान दिगंबर जैन मुनि संघ कमेटी की ओर से विधान का आयोजन कराने वालों का बहुमान किया गया। इसके बाद गाजे-बाजे के साथ विभिन्न मार्गों से होते हुए शोभायात्रा निकाली गई। जिसमें सकल दिगंबर जैन समाज के महिलाएं-पुरूष एवं बच्चे मौजूद थे। इसमें नागौर, डेह, कलकत्ता, पांडेचरी, दिल्ली आदि क्षेत्रों से श्रद्धालु पहुंचे थे।
लोकार्पण एवं रक्तदान शिविर 17 को
नागौर. ग्राम ताऊसर में 17 अक्टूबर को कृष्ण गोशाला संस्थान में रक्तदान शिविर के साथ ही लोकार्पण समारोह होगा। सवा नौ बजे लोकार्पण एवं साढ़े नौ बजे रक्तदान शिविर का कार्यक्रम होगा। इसमें श्रीराम दरबार, राधा-कृष्ण मंदिर के प्राण प्रतिष्ठा महोत्सव के साथ ही गोशाला में कराए गए निर्माण का लोकार्पण किया जाएगा। कार्यक्रम में मुख्य अतिथि राज्यसभा सांसद राजेन्द्र गहलोत रहेंगे। अध्यक्षता पूर्व सांसद एवं भाजपा की प्रदेश उपाध्यक्ष ज्योति मिर्धा करेंगी। विशिष्ट अतिथियों में मेड़ता विधायक लक्ष्मणराम कलरू एवं विधायक व राज्य के पूर्व कैबिनेट मंत्री यूनुस खान आदि रहेंगे। कार्यक्रम बड़ा रामद्वारा सूरसागर के संत रामप्रसाद महाराज व संत श्यामुसंदर महाराज के सानिध्य में होगा। इस दौरान भामाशाहों की ओर से कालानाडा राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय में बनवाए गए पुस्तकालय एवं कक्षा-कक्षों का भी लोकार्पण किया जाएगा।
सामूहिक एकासन तप के साथ हुआ नवकार मंत्र का जाप
नागौर. जैनाचार्य भूधर महाराज का जन्म स्मृति दिवस रविवार को मनाया गया। इस मौके पर श्वेतांबर स्थानकवासी जयमल जैन श्रावक संघ के तत्वावधान में सामूहिक एकासन तप आदि कार्यक्रम हुए। रावत स्मृति भवन में श्रद्धालुओं ने सामूहिक एकासन तप किया। सामूहिक एकासन, प्रवचन प्रश्नोत्तर, लक्की ड्रा व प्रवचन की प्रभावना का लाभ अभय कुमार, संजय कुमार, साजन कुमार, लालचंद कांकरिया को मिला। जयमल जैन पौषधशाला में साध्वी बिंदुप्रभा ने आचार्य भूधर महाराज पर प्रवचन करते हुए कहा कि आचार्य भूधर कर्म और धर्म दोनों ही क्षेत्र में शूरवीर थे। 92 वर्ष की उम्र में विजयादशमी के दिन उनका संथारा सहित देवलोक गमन हुआ था। प्रवचन में पूछे गए प्रश्नों के उत्तर अमीचंद सुराणा, विनीता पींचा, दीपक सैनी, रेखा चौरडिय़ा, ज्ञानचंद माली व पुष्पा ललवानी ने दिए। ज्ञानचंद माली ने भजन प्रस्तुत किया। दोपहर 2 से 3 बजे तक सुशील धरम आराधना भवन में नवकार महामंत्र का जाप हुआ। इसकी प्रभावना का लाभ मनोज कुमार, जितेंद्र ललवानी को मिला। चातुर्मास के मुख्य लाभार्थी बनने का सौभाग्य चंपालाल, विजयसिंह, रणजीतमल, धनेश, प्रियंक को मिला। संचालन संजय पींचा ने किया।